नई दिल्लीः पुनीत माथुर। सीमा विवाद को लेकर असम और मिजोरम के बीच हुई हिंसा में  असम-मिजोरम बॉर्डर के लायलापुर में असम पुलिस के 5 जवान शहीद हो गए हैं वहीं 50 से ज्यादा लोगों के घायल होने की खबर है। मिजोरम का आरोप है कि असम पुलिस के जवानों ने आम नागरिकों पर फायरिंग की वहीं असम का आरोप है कि मिजोरम के लोगों ने गोलीबारी की।

आइए आपको बताते हैंं कि दोनों राज्यों के मध्य क्या है विवाद :

मिजोरम के तीन जिले - आइजोल, कोलासिब और मामित असम के बराक घाटी के जिले- कछार, करीमगंज और हैलाकांडी के साथ 164 किलोमीटर लंबी सीमा से जुड़े हुए हैंं। अगस्त 2020 और फरवरी में एक क्षेत्रीय विवाद के समय भी दोनों की सीमा पर झड़पें हुईं थीं।

ये दोनों हीे राज्य पहाडों पर स्थित हैंं जहां खेती करने के लिए जमीन बहुत कम होती है। इसलिए स्थानीय लोगों के बीच खेती की जमीन के छोटे से टुकड़े के लिए विवाद होता रहता है। 

हाल का विवाद उस समय हिंसक हो गया, जब असम पुलिस ने अपनी सीमा पर मिजोरम के लोगों को खेती करने से रोका और उनको वहां से खदेड़ दिया।

सूत्रों के अनुसार विवादित क्षेत्र में ऐटलांग नदी के पास कम से कम आठ झोपड़ियों में रविवार की रात साढ़े 11 बजे आग लगा दी गई। हांलांकि उन झोपड़ियों में कोई नहीं था। ये सभी झोंपड़ियां असम के नजदीकी सीमावर्ती गांव वायरेंगटे के किसानों की हैं।

असम पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि सीमा पार से उपद्रवियों ने उस समय अचानक गोलीबारी शुरू कर दी, जब दोनों पक्षों के नागरिक अधिकारी मतभेदों को सुलझाने के लिए बातचीत कर रहे थे। वहीं, सीएम जोरमथांगा ने असम पुलिस पर लाठीचार्ज करने और आंसू गैस के गोले छोड़ने के आरोप लगाए जबकि असम की पुलिस ने दावा किया कि मिजोरम से बड़ी संख्या में उपद्रवियों ने पथराव किया और असम सरकार के अधिकारियों पर हमला किया।

गृह मंत्री अमित शाह ने की दोनों राज्यों के मुख्यमंत्रियों से बात :

सूत्रों ने बताया कि असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्व सरमा और मिजोरम के मुख्यमंत्री जोरमथांगा के साथ टेलीफोन पर अलग-अलग बातचीत के दौरान केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने उनसे अंतरराज्यीय सीमा पर शांति बनाए रखने को कहा। गृह मंत्री ने मुख्यमंत्रियों से कहा कि सीमा विवाद को आपसी सहमति से हल करें। दोनों मुख्यमंत्रियों ने गृह मंत्री को आश्वासन दिया है कि शांति सुनिश्चित करने और सीमा मुद्दे को सौहार्दपूर्ण ढंग से हल करने के लिए आवश्यक कदम उठाए जाएंगे।

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